देहरादून में नागरिक उड्डयन सम्मेलन: एयर कनेक्टिविटी बढ़ाने पर जोर, उड़ान योजना बनेगी गेमचेंजर
देहरादून में आयोजित उत्तर क्षेत्रीय राज्यों के नागरिक उड्डयन मंत्रियों के सम्मेलन में देश में हवाई सेवाओं के विस्तार को लेकर कई अहम घोषणाएं भी की गईं। केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू ने कहा कि देश के हर क्षेत्र को एयर कनेक्टिविटी से जोड़ने का लक्ष्य भी है। इसके लिए क्षमता विकास और बुनियादी ढांचे को लगातार मजबूत भी किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि ‘उड़ान योजना’ ने देशभर में हवाई यात्रा को सरल व सुलभ बनाया है। पिछले 10 वर्षों में देश में एयरपोर्ट्स की संख्या व हवाई यात्रियों की संख्या में उल्लेखनीय बढ़ोतरी भी हुई है।
उड़ान 2.0 से चार करोड़ यात्रियों को होगा लाभ
नायडू ने कहा कि
उड़ान योजना का दूसरा चरण (UDAN 2.0) देशभर में कनेक्टिविटी को नई ऊंचाइयों पर भी ले जाएगा। इससे करीब 4 करोड़ यात्रियों को लाभ भी मिलेगा। उन्होंने बताया कि नोएडा के जेवर एयरपोर्ट के निर्माण से 10 लाख रोजगार के अवसर भी तैयार होंगे, जिनमें से केवल निर्माण कार्य से ही 5 लाख लोगों को रोजगार भी मिलेगा।
नायडू ने बताया कि 500 एकड़ क्षेत्र में बनने वाला एयरपोर्ट लगभग 70 हजार से 1 लाख लोगों को रोजगार देने की क्षमता भी रखता है।
सीएम धामी ने पर्वतीय राज्यों के लिए की विशेष नीति की मांग
उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने सम्मेलन के दौरान केंद्र सरकार से अनुरोध किया कि पर्वतीय राज्यों की विशिष्ट भौगोलिक परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए:
- हवाई सेवा के संचालन में सब्सिडी भी दी जाए
- मौसम पूर्वानुमान प्रणाली को मजबूत भी किया जाए
- पर्वतीय विमानन ढांचे के लिए अलग नीति में बनाई जाए
उन्होंने बताया कि राज्य सरकार दूरस्थ क्षेत्रों को हेली सेवाओं से जोड़ने का लगातार प्रयास भी कर रही है। उड़ान योजना ने राज्य में एयर कनेक्टिविटी में क्रांति भी ला दी है, जिससे पर्यटन, रोजगार व अर्थव्यवस्था को मजबूती भी मिली है।
सम्मेलन में कई राज्यों के मंत्री हुए शामिल
सम्मेलन में उत्तर प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना, हरियाणा के नागरिक उड्डयन मंत्री विपुल गोयल, राजस्थान के मंत्री गौतम कुमार दास, केंद्रीय उड्डयन सचिव समीर कुमार सिन्हा, उत्तराखंड के मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन समेत कई अधिकारी भी मौजूद रहे।
इस सम्मेलन के माध्यम से एविएशन सेक्टर को और सशक्त बनाने, छोटे शहरों को हवाई सेवाओं से जोड़ने व रोजगार के अवसरों को बढ़ाने के लिए रणनीति भी तय की गई।




